Monday, June 3, 2013

BHARAT NIRMAN


भारत निर्माण 

हो  रहा निर्माण भारत  का  कहीं  पर 
और कहीं खाने  को  दो रोटी  हैं  दूभर
ना  पहनने  को  हैं कपडे, ना कोई घर 
इनकी छत है आसमाँ  बिस्तर ज़मीं  पर  

Sunil _Telang 









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