Monday, April 29, 2013

PATTHAR JIGAR


PATTHAR JIGAR

Haadse na huye Bus khabar ho gaye
Hum bhi padh padh ke Patthar jigar ho gaye

Khud pe guzre na jab tak Koi gham nahi
Dard ke naale bhi Be-asar ho gaye

Aam logon ko tarjeeh koi na thi
Kitne mazloom bus Dar-badar ho gaye 

Tantr laachar hai,Charagar kya kare
Maamle roz ke Dard-e-sar ho gaye

Kashmakash me hai Insaan jaaye kahaan
Ab khuda ke hawaale Shahar ho gaye 

पत्थर जिगर 

हादसे    ना   हुये,   बस   खबर   हो   गये  
हम भी पढ़ पढ़  के  पत्थर जिगर हो गये 

खुद पे गुज़रे ना जब तक, कोई ग़म नहीं 
दर्द   के   नाले   भी    बेअसर    हो    गये 

आम  लोगों   को  तरजीह  कोई  ना  थी 
कितने  मजलूम  बस  दर-बदर  हो  गये 

तंत्र    लाचार    है,  चारागर   क्या    करे
मामले    रोज़   के    दर्दे-सर    हो    गये 

कश्मकश   में   है   इंसान   जाये   कहाँ 
अब   खुदा   के   हवाले   शहर   हो  गये 

Sunil_Telang/29/04/2013







Sunday, April 28, 2013

JAADOO



जादू 

ये  कोई  जादू  नहीं, है  जागरूकता  की  लहर 
देख लो अब उठ गया है हर गली, कूचा, शहर 
सत्य की है ये लड़ाई फिर तुझे किसका है डर 
टिक गई अब आप पर ही सारी  दुनिया की नज़र 

Sunil_Telang









ITIHAAS



ITIHAAS 

Kisliye karta hai Ab shikwa gila
Jo bhi boya tha Wahi sab to mila

Khud chune humne Vidhaata bhagya ke
Ab khafa kyon Jab dukhon ka silsila

Hai pareshaan tu Magar lagta hai dar
Kho na de wo Jo tujhe ab tak mila

Tu agar chaahe naya Itihaas rach de
Chal nikal baahar Bana kar kaafila 

इतिहास 

किसलिए करता है अब शिकवा मिला 
जो भी बोया था, वही सब तो मिला 

खुद चुने हमने विधाता भाग्य के 
अब खफा क्यों, जब दुखों का सिलसिला 

है  परेशां  तू,मगर लगता है डर 
खो ना दे वो,जो अभी तक है मिला 

तू अगर चाहे नया इतिहास रच दे 
चल निकल बाहर बना कर काफिला 

Sunil_Telang












हादसे किसी की ज़िन्दगी पे हैं कहर की तरह 
और किसी के लिये होते हैं बस खबर की तरह 







Friday, April 26, 2013

SABAK



SABAK 

Sabak wafa ka hume Raat din sikhate rahe
Humari chaahton ko Roz aajmate rahe

Samajh sake na hakikat Haseen chehron ki
Hum unki muskurahaton Pe dil lutate rahe

Kabhi ho jaayega deedar Ek din unka
Gali me unki yun hi Roz roz jate rahe

Milega intezar ka sila Wafa se hume
Isi ummeed me dil Ka diya jalate rahe

Sunil_Telang/26/04/2013

सबक 

सबक वफ़ा  का हमे रात दिन सिखाते रहे 
हमारी चाहतों को  रोज़  आजमाते रहे 

समझ सके ना  हकीकत हसीन चेहरों की 

हम उनकी मुस्कुराहटों पे दिल लुटाते रहे 

कभी हो जायेगा  दीदार एक दिन  उनका 

गली में उनकी यूँ ही रोज़ रोज़ जाते रहे 

मिलेगा इंतज़ार का सिला वफ़ा से हमें 
इसी  उम्मीद में दिल  का दिया जलाते रहे 

Sunil _Telang 









KAANOON KYA KAREGA



क़ानून क्या करेगा 

उनको है शायद पता, क़ानून मैं कुछ दम नहीं 
होगी छोटी सी सज़ा, जिसका उन्हें कुछ ग़म नहीं 

देखते हैं वो, गुनाहगारों का, कुछ होता नहीं 
घूमते स्वच्छंद हो कर वो, कोई रोता नहीं 
ज़ख्म कितना भी बड़ा हो, अब तलक मरहम नहीं 

हैं बहुत पेचीदगी, इस देश के क़ानून में 
और फिर ईमानदारी, भी रही ना खून में 
जुर्म कोई रोक पाये, तंत्र ये सक्षम नहीं 

दो पलों की भूख तेरी, क्या ग़ज़ब  ढा जायेगी
ये हवस तेरी, किसी की, ज़िन्दगी खा जायेगी 
पाप कर के देखना, तडपेगा तू भी कम नहीं  

Sunil_Telang/26/04/2013

Thursday, April 25, 2013

DARINDE


दरिन्दे

ये दरिन्दे लोग समझेंगे नहीं इंसानियत
जानवर में भी नहीं मिलती है इतनी वहशियत
मिट सकेगी इनकी हस्ती भी अगर जो हो नीयत
कुछ सजा क़ानून से हट के रखेगी अहमियत

Sunil _Telang 

Wednesday, April 24, 2013

PATAN




PATAN

Aadmi  ka  kahan   tak  patan  ho   raha   hai
Zaalimon  ke  hawale  vatan   ho   raha   hai

Aaj    sabka   khuda   sirf    dhan   ho    gaya 
Loot  le  tu  bhi  gar  tera  man  ho raha  hai

Haisiyat      naariyon      ki        khilona     hui 
Ab to bachpan pe bhi aakraman ho raha hai

Har  kisi   ko   fikar   Khaas   logon    ki    hai 
Bus   pareshaan  ye  Aam  Jan  ho  raha  hai 

Sunil_Telang

SIKANDAR




SIKANDAR

Waqt aaya hai kathin
Par hausla na haar jaana 
Ye niyati ka khel hai
Mushkil hai is se paar paana 

Haadsa ye yaad kar ke 

Tum kabhi aansoo na laana 
Fir khushi aayegi tere dar pe 
Lekar ik bahana

Tu akela hai nahi, Ye baat

Rakh le dil ke andar
Mushkilon se jo ladega
Bus wahi hoga Sikandar 

Sunil_Telang



सिकन्दर 

वक़्त आया है कठिन 
पर हौसला ना हार जाना 
ये नियति का खेल है 
मुश्किल है इस से पार पाना 

हादसा ये याद कर के 
तुम  कभी आंसू न लाना 
फिर ख़ुशी आयेगी तेरे दर पे  
ले कर इक बहाना 

तू अकेला है नहीं, ये बात 
रख ले दिल के अन्दर 
मुश्किलों से जो लडेगा 
बस वही होगा सिकन्दर 

Sunil _Telang 

Tuesday, April 23, 2013

SUNWAAI





सुनवाई 

अब    डराने   लगे   पेज    अखबार   के 
टेलीवीज़न की  हर  न्यूज़ से लगता डर 
हो  गया  है  पतन  कितना  इंसान  का 
आ गई शक की नज़रों में सबकी नज़र 

कितने  मासूम  बचपन  जवां  ना  हुये 
कुछ  दरिंदों   का   कैसा  ये  टूटा  कहर 
खौफ  के  साये  में  जी   रही  ज़िन्दगी 
रात  का  हो  समय  या  सुबह  दोपहर 

आम लोगों  की  सरकार  का  राज  है 
फिर भी तेरी नहीं है किसी को फिकर 
तेरी   सुनवाई  कोई   ना   होगी  कहीं 
तेरी  हस्ती  नहीं  ख़ास  है कुछ अगर 

Sunil _Telang /23/04/2013

Sunday, April 21, 2013

KYA KHATA



क्या   खता

क्या   खता  कोई   हुई  रब   से  मुझे   बेटी   बना    कर 
जानवर  क्यों  बन  रहा  इंसान  तन्हा  मुझको   पाकर 
मुझको भी  सब की तरह दो ज़िन्दगी जीने का अवसर  
पाओगे  तुम  क्या मेरा अस्तित्व दुनिया से मिटा  कर 

Sunil_Telang

Kya khata koi hui rab se Mujhe beti bana kar
Jaanwar kyon ban raha insaan Tanha mujhko pa kar
Mujhko bhi sab ki tarah do Zindagi jeene ka awsar
Paaoge tum kya mera Astitwa duniya se mita kar 

Sunil_Telang





Friday, April 19, 2013

AMAANAT




अमानत 

फिर मिला है आज मौका, बदलें किस्मत देश की 
अपने हाथों से लिखें अब हम इबारत देश की 

कोई तुझको बरगला के, छीन ना ले तेरा हक 
वोट तेरा, राज तेरा, सीख ले अब ये सबक
तेरी मर्जी से चलेगी अब हुकूमत देश की 

तुम परायों की तरह अब हो गये अपने ही घर में 
भेड़, बकरी की तरह कीमत तेरी सबकी नज़र में  
तेरी कायरता ने कर दी, कैसी हालत देश की

सोच ले फिर ये सुअवसर, ना दोबारा आयेगा 
ज़ुल्म , अत्याचार  का ये सिलसिला थम जायेगा 
"AAP " के हाथों में अब, सौंपें अमानत देश की 

Sunil _Telang /19/04/2013

Thursday, April 18, 2013

ASAR


असर 

आप का सब के ऊपर हुआ क्या असर 
 आ रहे सामने लोग हो के निडर 

अब समझ आ गई वोट की अहमियत 
खुल गई सब नुमाइन्दों की असलियत 
काट के पेट किसने भरा अपना घर 

झूठे वादों का व्यापार अब ना  चले 
किसी बेबस का घर बार अब ना जले 
अब जियें ज़िन्दगी लोग हो के निडर 

ढूंढते थे जो हम वो दिखा "AAP " में
कोई सच्चा मिला रहनुमा "AAP " में 
हर कदम अब बढे "AAP " की राह पर 

Sunil_Telang

UNKO SHARAM



UNKO SHARAM

Unko sharam na aayegi Is desh ke haalaat par
Uplabdhiyan bus apni Ginvayenge har baat par
Ye desh  hai  bada aur Kitni  hain  samasyayen
Khulti hai jubaan lekin Bus dharm aut  jaat par 

उनको  शरम ना आयेगी इस देश  के हालात पर 

उपलब्धियां बस अपनी गिनवायेंगे हर बात पर 
ये   देश    है  बड़ा   और   कितनी   हैं  समस्याएं 
खुलती है जुबां  लेकिन  बस  धर्म  और जात पर 

Sunil_Telang/18/04/2013



DARKAAR



दरकार 

जो  ज़रूरतमंद  हैं , बेबस  हैं , जो  लाचार  हैं 
जिनको खाने के लिये  दो  रोटियाँ दरकार हैं
ये खता इनकी है या कोई प्रकृति का है कहर  
यूँ  भटकते  हैं  सड़क  पर, देखती  सरकार है 

Sunil _Telang 





Tuesday, April 16, 2013

WAQT


वक़्त

वक़्त ना आसान ये होगा कभी 
हौसले अपने कभी ना तोड़ना 
ये लड़ाई  है अटल विश्वास की 
आँधियों का है तुझे  रुख मोड़ना 

झूठ और अभिमान का है बोलबाला 
बाहुबल के साथ होगा धन भी काला 
साथ तेरे आम जन की हैं दुआयें 
सत्य का रस्ता कभी ना छोड़ना 

तुम हो इक आम आदमी पर ख़ास हो 
इस अँधेरे में किरन  की आस हो 
जब तलक आये ना मंजिल  रुक ना जाना 
हर किसी को आप से है जोड़ना 

हौसले अपने कभी ना तोड़ना 

Sunil_Telang/16/04/2013







HUM KAHAAN JAAYEN



हम कहाँ जायें

हम कहाँ जायें अजब हालात है
अब तो अपने हौसले की बात है 
ये प्रगति कैसी हुई है देश की 
अपने हक और पेट पर ये लात है 

Sunil_Telang

Friday, April 12, 2013

PRAN


प्राण 

प्राण जी तुम प्राण हो  फ़िल्मी जगत के 
सारी  फ़िल्मी हस्तियाँ हैं तुमपे सदके 
ये विलेन है चीज़ क्या तुमने बताया 
फिर करैक्टर हर कोई तुमने निभाया 

आज प्रतिभा की मिली पहचान तुमको 
दे रहे हैं आज कुछ सम्मान तुमको  
तुमको कैसे विलेन कोई मान पाये 
कितने खलनायक यहाँ हैं ऊंचे कद के
प्राण जी तुम प्राण हो  फ़िल्मी जगत के 

Sunil _Telang/12/04/2013




Thursday, April 11, 2013

NEK KAAM


नेक  काम 

चलो   कोई   नेक  काम   कर   लें 
किसी का दुःख अपने नाम कर लें 

बहुत   दिया   है   तुझे   खुदा    ने 
कभी तो  दौलत  को आम  कर लें 

जिन्हें न अपनों ने अपना समझा 
ज़रा   उन्हें   भी   सलाम  कर   लें 

किसी  को   दो  पल  सुकून  देकर 
दुआओं   का   इंतजाम   कर    लें 

मिली  न  सबको खुदा  की रहमत 
भलाई में  सुबह-ओ-शाम  कर  लें


NEK KAAM 
Chalo  koi  nek  kaam  kar   len
Kisi ka dukh apne naam kar len

Bahut diya hai  tujhe khuda  ne
Kabhi to daulat ko aam kar len

Jinhen na apno ne apna samjha
Zara unhen bhi salaam kar len

Kisi  ko  do  pal  sukoon dekar
Duaaon  ka  intezaam  kar  len

Mili na sabko khuda ki rehmat
Bhalai me subah-o-shaam kar len

Sunil_Telang/11/04/2013















Tuesday, April 9, 2013

TERI ZID




तेरी ज़िद 


तेरी ज़िद ने आज कुछ ऐसा करिश्मा कर दिया

हर युवा की धमनियों मे रक्त फिर से भर दिया


चाहे छल हो या के बल हो अब रुकेंगे ना कदम

भ्रष्ट सत्ता की असलियत को उजागर कर दिया



हो गया हर नौजवान तैयार मरने के लिये

अपने जीवन की कदर करने का एक अवसर दिया


चाहे अब कोई भी हो अंजाम कोई ग़म  नहीं

हाथ अब सरकार की दुखती ऱगो पर धर दिया


हुक्मरानो सब्र का मत इम्तिहा लेना  कभी

जब युवा जागा तो जो चाहा वो उसने कर दिया


Sunil_Telang

RUK NA JAANA



रुक ना जाना

रुक ना जाना, ये अभी शुरुआत है
हौसला  रखना, कठिन हालात है 

थी अँधेरी रात, इक दीपक जला है 
राह दिखलाने को, इक रहबर मिला है 
सब चलें मिलकर, तो फिर क्या बात है 

मुश्किलों का सामना, डट कर करें हम 
अपने हाथों अपनी किस्मत, खुद लिखें हम 
एक हैं सब, क्या धरम, क्या जात है 

अब बुराई को, मिटा कर ही रहेंगे 
एक दिन मंजिल को, पाकर ही रहेंगे 
आप  का हमको, मिला अब साथ है 

Sunil _Telang /09/04/2013

RUK NA JAANA

Ruk na jaana Ye abhi shuruaat hai
Hausala rakhna Kathin haalaat hai

Thi andheri raat Ik deepak jala hai
Raah dikhlane ko Ik rahbar mila hai
Sab chalen milkar To fir kya baat hai

Mushqilon ka saamna Dat kar karen hum
Apne haathon apni kismat Khud likhen hum
Ek hain sab Kya dharam Kya jaat hai

Ab buraai ko Mitakar hi rahenge
Ek din manzil ko Paakar hi rahenge
"AAP" ka humko Mila ab saath hai

Sunil_Telang















Monday, April 8, 2013

MAAN LE


मान ले 

क्या पिया , कैसे है जिंदा, हो रहा है बस जिकर 
पर तेरे जज्बे की अब तक ना हुई उनको फिकर 

चुपके चुपके वो तमाशा देखते हैं रात दिन 

मन ही मन होते परेशां  देख कर तेरा असर 

मिल गई पहचान उनको गुमशुदा बैठे थे जो  

सामने देखो  खड़ा आम आदमी हो के निडर

हमने माना तेरी मर्जी पे है बस तेरा ही हक  

मान ले सब का कहा,एहसान होगा  देश पर 

Sunil_Telang

RANG

रंग 

रंग तो हैं अनगिनत फिर ज़िन्दगी बेरंग क्यों है 
दूसरों से कुछ अलग जीने का अपना ढंग क्यों है 

हर किसी की ज़िन्दगी में है ख़ुशी के साथ ग़म भी 
फिर भी लगता दुःख का साया सिर्फ अपने संग क्यों है 

ख्वाहिशें तो कम नहीं होती है हम कितना भी पायें 
दूसरों से कम ही लगता है, नज़रिया तंग क्यों है 

जो हमे अच्छा लगे वो क्या ज़रूरी सबको भाये 
दूसरों की सोच पर अपनी ख़ुशी बदरंग क्यों है 

जाति और धर्मों में बँट के रास्ते सबके अलग हैं 
ये नहीं सोचा मगर सब का लहू इक रंग क्यों है 

Sunil_Telang

RANG 

Rang to hain anginat Fir zindagi berang kyon hai
Doosron se kuchh alag Jeene ka apna dhang kyon hai

Har kisi ki zindagi me Hai khushi ke saath gham bhi
Fir bhi lagta dukh ka saaya Sirf apne sang kyon jai

Khwahishen to kam nahi hoti hain Hum kitna bhi paayen 
Doosron se kam hi lagta hai Nazariya tang kuon hai

Jo humen achchha lage Wo kya zaroori sabko bhaaye
Doosron ki soch par Apni khushi badrang kyon hai

Jaati aur Dharmon me bant ke Raaste sabke alag hain

Ye nahi socha magar Sabka lahoo ik rang kyon hai

Sunil_Telang













Sunday, April 7, 2013

KYA MILA



क्या मिला 

पूछते हैं लोग क्या अनशन से पाया 
इतने दिन में भी समझ उनको न आया 

जो सुनें हर बात टी वी  की खबर से 
जो कभी बाहर न निकले अपने घर से 
उनको लगता है तमाशा इक बनाया 

जागरूकता की लहर ये चल पड़ी है 
आम जनता देश की अब उठ खड़ी है 
इक नया नेतृत्व और विश्वास पाया 

हो रहा है ज़ुल्म गर कोई गिला है 
आज सबको एक मौका फिर मिला है 
लूट भ्रष्टाचार का कर दें  सफाया 
आज जन जन ने यही पैगाम पाया 

Sunil_Telang/07/04/2013


Friday, April 5, 2013

NAT-MASTAK


नत-मस्तक 

देश नत मस्तक तुम्हारे, सामने लो हो गया 
उठ खड़ा है हर कोई अब, डर कहाँ ये खो गया 
अब ज़रुरत ना पड़ेगी, फिर तेरे उपवास की 
त्याग तेरा देखकर तो, आसमां भी रो गया 

Sunil_Telang 

Thursday, April 4, 2013

SHAUK


शौक

मुझको कोई शौक अनशन का नहीं है 
क्या ये मुद्दा आज जन जन का नहीं है 
तुम ही बतला दो नया फिर कोई रस्ता 
अब ये मौका सिर्फ चिंतन  का नहीं  है 

और क्या है पास मेरे,  बस नये  भारत का सपना 
ज़िन्दगी भय मुक्त गुज़रे,हर कोई हक पाये अपना 

दूरियां असमानता की ख़त्म हों सब हों बराबर 

लूट भ्रष्टाचार से बर्बाद ना हो अब कोई घर  
सीख ले तू भी ज़रा इस  रेत की गर्मी में तपना 
अब तपस्या, त्याग से ही लक्ष्य हम पायेंगे अपना 

Sunil_Telang/04/04/2013




Wednesday, April 3, 2013

GHAM NA KAR





ग़म ना कर

ग़म ना कर मंजिल भी इक दिन आयेगी 
तेरी      जिद    ही   रास्ता   दिखलायेगी

अपनी अपनी   फ़िक्र  में उलझे  हैं लोग    

उनकी   नादानी   ग़ज़ब    कुछ   ढायेगी

हो     रहा     है      ज़िक्र    तेरा    चारसू 

ये   कवायद   यूँ     ना   खाली   जायेगी 

मिल   गया   सन्देश   तेरा    देश    को 
आग     चिंगारी      यही     सुलगायेगी 

मान  भी जा  ख़त्म अब  उपवास  कर 
फिर  फना   होने   की   बेला    आयेगी 

Sunil _Telang 

GHAM NA KAR 

Gham na kar Manzil bhi ik din aayegi
Teri zid hi Raasta dikhlaayegi

Apni apni fikr me Uljhe hain log
Unki naadani Ghazab kuchh dhaayegi

Ho raha hai zikr Tera chaarsu
Ye kawayad yun Na khaali jaayegi

Mil gaya sandesh Tera desh ko
Aag chingari Yahi sulgaayegi

Maan bhi ja Khatm ab Upwaas kar 
Fir fanaa hone ki bela aayegi 

Sunil_Telang

















Monday, April 1, 2013

MASEEHA


मसीहा 

दूरियां बढ़ने लगी हैं  आम जनता के लिये 
उनको अब फुर्सत नहीं है आम जनता के लिये 

क्या यही सरकार है जो  पांच वर्षों के लिये 
आम जनता ने चुनी है आम जनता के लिये 

कल तलक माँ बाप भाई और बहन करते थे जो 
आज वो सब अजनबी हैं आम जनता के लिये 

हमने तो हमराज़ समझा अपने दुःख और दर्द का 
उनकी नज़रें फिर गई हैं आम जनता के लिये 

लोग जीते हैं यहाँ हर रोज़ बस ये सोच  कर 
क्या कहीं सुनवाई भी है आम जनता के लिये 

कब तलक ये ज़ुल्म अत्याचार होगा,याद रख 
इक मसीहा और भी है आम जनता के लिये 

Sunil _Telang