Saturday, December 7, 2013

BUNIYAAD


बुनियाद

नहीं  फुर्सत किसी को जो उठा के इक नज़र देखें 
गुज़रता  है  यूँ  ही  बचपन  इधर  देखें  उधर देखें 
बड़ी  उम्मीद से  सब  देखते   हम नौनिहालों को 
बिना  बुनियाद  के   कैसे  ठहर  पायेंगे   घर देखें 

Sunil_Telang/07/12/2013


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