Tuesday, February 25, 2014

MUSKURAATE JAAIYE



मुस्कुराते जाइये

रोज़   हँसिये   और  लोगों   को   हँसाते  जाइये 
चाहे  ग़म  हो  या  ख़ुशी  बस  मुस्कुराते जाइये 

भूलकरअपनों को तुमने धन कमाया,क्या मिला 
कुछ   दुआयें   भी   बुज़ुर्गों   की  कमाते  जाइये 

और  भी  हैं लोग  दुनिया में, नहीं जिनका कोई 
उनको  अपना  के नसीब  अपना बनाते जाइये 

हादसे  तो  बन  गये  हैं अब नियति  इंसान  की 
हौसला   रखिये ,  गिले   शिक़वे  भुलाते जाइये 

पाआगे तुम एक दिन  तक़दीर  में  लिखा  हुआ 
ले के  रब  का नाम  किस्मत  आज़माते जाइये 

Sunil_Telang/25/02/2014


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